कपड़ों, घड़ी, सिगरेट, तंबाकू, कोल्ड ड्रिंक्स समेत 148 आईटम्स पर जीएसटी काउंसिल की ओर से गठित मंत्रियों के समूह जीएसटी रेट बढ़ाने की सिफारिशों को लेकर सोशल मीडिया में हो रही भारी आलोचना के बाद केंद्र सरकार बैकफुट पर आ गई है. वित्त मंत्रालय के अधीन आने वाले सेंट्रल बोर्ड ऑफ एक्साइज कस्टम ने इन आईटम्स पर जीएसटी रेट बढ़ाने की खबरों को अफवाह करार दिया है.
सीबीआईसी ने कहा कि जीएसटी काउंसिल में जीएसटी रेट में बदलाव को लेकर अभी तक कोई चर्चा नहीं हुई है और मंत्रियों के समूह की सिफारिशें भी उसे नहीं मिली है. यहां तक मंत्रियों के समूह ने अभी तक अपनी रिपोर्ट तैयार कर काउंसिल के पास विचार के लिए सौंपा भी नहीं है. ऐसे में मीडिया में जीएसटी रेट बढ़ाने को लेकर आ रही खबरें प्रीमैच्योर और अफवाह है.
सीबीआईसी के मुताबिक, जीएसटी काउंसिल ने जीएसटी रेट को तर्कसंगत बनाने के लिए मंत्रियों के समूह का गठन किया था जिसमें बिहार, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, पश्चिम बंगाल, कर्नाटक और केरल के मंत्री शामिल हैं और बिहार के उपमुख्यमंत्री इसके अध्यक्ष है. जीएसटी काउंसिल की अध्यक्षता माननीय वित्त मंत्री करती हैं और सभी राज्यों केंद्र शासित प्रदेशों के वित्त मंत्री इसमें शामिल हैं और जीएसटी दरों में बदलाव करने के लिए काउंसिल ही अधिकृत है. मंत्रियों की समूह केवल अपनी सिफारिश सौंप सकती है. सीबीआईसी के मुताबिक जीएसटी काउंसिल ने अभी तक जीएसटी रेट में बदलाव पर विचार नहीं किया है. काउंसिल को जीओएम की सिफारिशें अभी नहीं मिली हैं.
सीबीआईसी के सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जाकर जीएसटी रेट में बढ़ोतरी किए जाने की खबरों को सिरे से नकार दिया. तो वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सीबीआईसी को इस महत्वपूर्ण और समय पर इन खबरों का खंडन करने को लेकर धन्यवाद देते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर लिखा, मंत्रियों के समूह में शामिल अलग अलग राज्यों के राज्यों के वित्त मंत्री जीएसटी दर में बदलाव पर विचार कर रहे हैं. इसके बाद, जीएसटी काउंसिल, जिसमें सभी राज्यों के वित्त मंत्री शामिल हैं, अपनी अगली बैठक में उनकी सिफारिशों पर विचार करेगी. वित्त मंत्री ने नसीहत देते हुए कहा, अटकलों से बचना ही बेहतर है.
जीएसटी काउंसिल ने रेट्स को तर्कसंगत बनाने के लिए बिहार के उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी की अध्यक्षता में ग्रुप ऑफ मिनिस्टर्स का गठन किया था. ये खबरें सामने आई कि मंत्रियों के समूह ने आपसी सहमति के बाद सिगरेट, तंबाकू और उससे जुड़े प्रोडेक्ट्स के साथ एयरेटेड पेय पदार्थों (कोल्ड ड्रिंक) पर जीएसटी रेट को बढ़ाकर 35 फीसदी करने का प्रस्ताव दिया है जो अभी 28 फीसदी है.