रायपुर । बलौदाबाजार हिंसा मामले में जेल में बंद कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव 6 महीने के बाद जेल से रिहा हो गए। उन्हें कल सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिली थी। आज दस्तावेजी प्रक्रिया के बाद देवेंद्र यादव की रिहाई हो गई है। सेंट्रल जेल के बाहर उनके समर्थकों में भारी उत्साह देखा गया।
सच की लड़ाई लड़ते रहेंगे- देवेंद्र यादव
जेल से रिहा होने के बाद पत्रकारों से बातचीत में देवेन्द्र यादव ने कहा कि बीजेपी ने सतनामी समाज के निर्दोष लोगों के साथ अत्याचार किया ये सभी जानते हैं। उन्होंने कहा कि सच की लड़ाई लड़ते रहेंगे।
ना थका हूं ना रुका हूं
ना डरा हूं ना झुका हूं
अन्याय के खिलाफ लड़ा हूं और लड़ता रहूंगा
जय हिंद जय संविधानAICC राष्ट्रीय सचिव एवं भिलाई विधायक श्री देवेंद्र यादव 6 महीनों के बाद आए जेल से बाहर #devendrayadav #congress #chhattisgarh #india #bhilai #raipur #bilaspur pic.twitter.com/jmvPU1BLaw
— Vijay Yadav (@Vijayyadav_992) February 21, 2025
बता दें कि बलौदाबाजार हिंसा मामले में छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने आज ही सतनामी समाज के 112 युवाओं को बड़ी राहत दी है। जस्टिस एन.के. व्यास की सिंगल बेंच ने सुनवाई करते हुए इन सभी आरोपियों को जमानत दे दी। इससे पहले इस मामले में 60 से अधिक आरोपी जमानत पर रिहा हो चुके हैं, लेकिन कई आरोपी अब भी सेंट्रल जेल में बंद हैं।
जानिए क्या है पूरा मामला
गौरतलब है कि 15 और 16 मई 2024 की दरमियानी रात कुछ असामाजिक तत्वों ने गिरौधपुरी धाम में सतनामी समाज के धार्मिक स्थल के पूज्य जैतखाम में तोड़फोड़ की थी। मामले में कार्रवाई करते हुए पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया था। पुलिस की इस कार्रवाई से समाज के लोग असंतुष्ट थे और न्यायिक जांच की मांग कर रहे थे। जिसके बाद गृहमंत्री विजय शर्मा ने न्यायिक जांच की घोषणा की।
वहीं 10 जून को जैतखाम में तोड़फोड़ के विरोध में हजारों लोग कलेक्ट्रेट के पास एकत्र हुए और जमकर हंगामा किया। जहां प्रदर्शन हिंसक हो गया। जिसके बाद उपद्रवियों ने तांडव मचाते हुए कलेक्टर और एसपी कार्यालय को आग के हवाले कर दिया। इस हिंसक घटना में सरकारी संपत्तियों को 12.53 करोड़ रुपये का भारी नुकसान पहुंचा था। मामले में प्रशासन ने कार्रवाई करते हुए 43 मामलों में 187 लोगों को गिरफ्तार किया था।