Supermoon: 2024 का आखिरी सुपरमून आज, आसमान में दिखेगा ‘सेवन सिस्टर्स’ का अद्भुत नजारा

रायपुर । आज रात, 15 नवंबर 2024 को, साल का आखिरी सुपरमून दिखेगा, जो रात के आकाश को अद्भुत चमक से भर देगा. यह न सिर्फ एक सुपरमून होगा बल्कि इसे और भी खास बनाएगा ‘सेवन सिस्टर्स’ तारा समूह, जिसे प्लीएडीज़ (Pleiades) भी कहा जाता है.

यह तारा समूह सुपरमून के पास नजदीक दिखाई देगा, जिससे यह दृश्य और भी दुर्लभ और आकर्षक बन जाएगा. आइए जानते हैं कि यह शानदार दृश्य क्या है और इसे देखने का सबसे अच्छा समय कब है.

सुपरमून क्या होता है? 

सुपरमून तब होता है जब चंद्रमा अपनी कक्षा में पृथ्वी के सबसे करीब वाले बिंदु, जिसे पेरीगी (Perigee) कहा जाता है, पर होता है और यह स्थिति पूर्णिमा के दिन बनती है. इस दौरान, चंद्रमा सामान्य से 14% बड़ा और 30% अधिक चमकीला दिखता है, जिसे आप अपनी आंखों से आसानी से देख सकते हैं. यह विशेषता चंद्रमा को विशाल और बेहद आकर्षक बना देती है. इसके विपरीत, जब चंद्रमा अपनी कक्षा में पृथ्वी से सबसे दूर होता है, तो इसे माइक्रोमून कहा जाता है और वह छोटा एवं कम चमकदार नजर आता है.

कब और कहां दिखेगा सुपरमून? 

भारत में यह अद्भुत नजारा 15-16 नवंबर की रात को देखा जा सकेगा. सुपरमून भारतीय समयानुसार रात 2:58 बजे से अपने चरम पर रहेगा. हालांकि, भारत में इसे देखने का सबसे अच्छा समय 16 नवंबर की शाम सूरज ढलने के बाद होगा. जैसे ही सूर्यास्त होगा, चांद उगता हुआ नजर आएगा और अगले 20-30 मिनट तक अपनी पूरी चमक और विशालता के साथ आसमान में छा जाएगा.

 

पिछले सुपरमून का इतिहास 

2024 में अब तक कई सुपरमून देखे जा चुके हैं. इस साल का सबसे नजदीक सुपरमून 17 अक्टूबर को था, जब चंद्रमा पृथ्वी से केवल 357,363 किलोमीटर दूर था. इसके अलावा, 19 अगस्त और 18 सितंबर को भी सुपरमून देखे गए थे. आज रात का सुपरमून पृथ्वी से 361,866 किलोमीटर की दूरी पर होगा, जो इस साल का अंतिम सुपरमून है.

‘सेवन सिस्टर्स’ तारा समूह के साथ खास नजारा 

इस साल का आखिरी सुपरमून इसलिए भी खास है क्योंकि इसके साथ प्लीएडीज़ या ‘सेवन सिस्टर्स’ तारा समूह दिखाई देगा. 15 नवंबर की रात ये तारे चांद के बाईं ओर नीचे की तरफ दिखेंगे, जबकि 16 नवंबर की शाम यह तारा समूह चांद के दाईं ओर ऊपर की तरफ नजर आएगा. दूरबीन या टेलीस्कोप से देखने पर यह नजारा और भी भव्य और खूबसूरत लगेगा. यह तारा समूह ब्रह्मांड में एक अनोखी और रहस्यमयी जगह रखता है और चंद्रमा के साथ इसका मेल देखने के लिए खगोल प्रेमियों का उत्साह चरम पर रहेगा.

इस सुपरमून का वैज्ञानिक और सांस्कृतिक महत्व 

सुपरमून न केवल वैज्ञानिक दृष्टिकोण से महत्वपूर्ण है, बल्कि विभिन्न संस्कृतियों में भी इसका विशेष महत्व है. इसे उत्तर अमेरिका में ‘बीवर मून’ कहा जाता है, क्योंकि यह वह समय होता है जब बीवर अपने शीतकालीन आश्रय तैयार करते हैं. सुपरमून की इस रोशनी में हजारों खगोलविद और स्काईवॉचर्स इसे अपने कैमरे में कैद करने के लिए बेसब्री से इंतजार करते हैं.

सुपरमून कैसे देख सकते हैं? 

इस नजारे को देखने के लिए किसी खास उपकरण की आवश्यकता नहीं है, लेकिन इसे स्पष्ट रूप से और अधिक विस्तार में देखने के लिए एक साधारण दूरबीन या टेलीस्कोप का प्रयोग कर सकते हैं. इससे ‘सेवन सिस्टर्स’ तारा समूह का नजारा और भी साफ दिखाई देगा. हालांकि, अगर आपके पास दूरबीन या टेलीस्कोप नहीं है, तो भी खुले आसमान में यह दृश्य बिना किसी रुकावट के देखा जा सकता है.

तो, आज रात अपने परिवार और दोस्तों के साथ इस अद्भुत खगोलीय घटना का आनंद लेने के लिए तैयार हो जाइए. 2024 का आखिरी सुपरमून आपके लिए एक शानदार अनुभव लेकर आएगा, जिसे देखना न भूलें!

Richa Sahay

ऋचा सहाय — पत्रकारिता और न्याय जगत की एक सशक्त आवाज़, जिनका अनुभव दोनों क्षेत्रों में अद्वितीय है। वर्तमान में The 4th Pillar की वरिष्ठ समाचार संपादक के रूप में कार्यरत ऋचा सहाय दशकों से राजनीति, समाज, खेल, व्यापार और क्राइम जैसी विविध विषयों पर बेबाक, तथ्यपूर्ण और संवेदनशील लेखन के लिए जानी जाती हैं। उनकी लेखनी की सबसे खास बात है – जटिल मुद्दों को सरल, सुबोध भाषा में इस तरह प्रस्तुत करना कि पाठक हर पहलू को सहजता से समझ सकें।पत्रकारिता के साथ-साथ ऋचा सहाय एक प्रतिष्ठित वकील भी हैं। LLB और MA Political Science की डिग्री के साथ, उन्होंने क्राइम मामलों में गहरी न्यायिक समझ और विश्लेषणात्मक दृष्टिकोण स्थापित किया है। उनके अनुभव की गहराई न केवल अदालतों की बहसों में दिखाई देती है, बल्कि पत्रकारिता में उनके दृष्टिकोण को भी प्रभावशाली बनाती है।दोनों क्षेत्रों में वर्षों की तपस्या और सेवा ने ऋचा सहाय को एक ऐसा व्यक्तित्व बना दिया है जो ज्ञान, निडरता और संवेदनशीलता का प्रेरक संगम है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button