27 साल बाद एयरपोर्ट से फिर उड़ान भरेगा यात्री विमान

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बिलासपुर।  27 साल बाद बिलासा एयरपोर्ट के आकाश से एक बार फिर यात्री विमान उड़ान भरेगा। एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया ने एयर इंडिया की सहायक कंपनी एलायंस एयर को जिम्मेदारी सौंपी है। वर्ष 1994 में चकरभाठा एयरपोर्ट से आखिरी बार अर्चना एयरवेज कंपनी के विमान ने रायपुर से बिलासपुर, जबलपुर व भोपाल के लिए उड़ान भरा था। बिलासा एयरपोर्ट नया इतिहास रचने जा रहा है। विमान सेवा प्रारंभ होने के साथ ही बिलासपुर संभाग में औद्योगिक क्रांति की शुरुआत होगी।

चकरभाठा एयरपोर्ट के इतिहास पर गौर करें तो वर्ष 1942 में रायल ब्रिटिश आर्मी के लिए इसका निर्माण किया गया था। इस एयरपोर्ट का उपयोग तब सैन्य बलों के लिए हुआ करता था।

संवेदनशील क्षेत्र घोषित होने के कारण लोगों की आवाजाही पर भी प्रतिबंध था। वर्ष 1952 के आते-आते सैन्य बलों की आवाजाही कम हो गई। इसके बाद एयरपोर्ट में विरानी छा गई। वर्ष 1988 में यहां से विमान सेवा प्रारंभ हुई।

तब वायुदूत चला जो बिलासपुर से भोपाल होते हुए दिल्ली के लिए यात्री विमान चलाया था। वायुदूत महज दो साल चल पाया। यात्रियों का टोटा कहें या फिर विमान सेवा को लेकर उपेक्षा के कारण वायुदूत ने विमान सेवा बंद कर दी। छह साल बाद एक बार फिर चकरभाठा एयरपोर्र्ट से वर्ष 1994 में अर्चना एयरवेज ने यात्री विमान चलाया। एक साल में ही बंद हो गया। तब से लेकर आजतक एयरपोर्ट से यात्री विमान सेवा प्रारंभ ही नहीं हो पाई।

27 साल के लंबे अंतराल में चकरभाठा एयरपार्ट में बहुत कुछ बदल गया। अब एयरपोर्ट की तस्वीर ही बदल गई। नाम तो बदला एयरपोर्ट का उन्न्यन हो गया। एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया ने बिलासा एयरपोर्ट को थ्री सी कैटेगरी का लाइसेंस जारी कर दिया है।

कमर्शियल एयरपोर्ट की सूची से बाहर हो गया था

सीपत एनटीपीसी पावर प्लांट की स्थापना के दौरान पावर प्लांट की चिमनी की ऊंचाई के कारण एयरपोर्ट अथारिटी आफ इंडिया ने वर्ष 1998 में चकरभाठा एयरपोर्ट को कमर्शियल एयरपोर्ट की सूची से बाहर कर दिया था।

रनवे की दिशा बदल गई

एयरपोर्ट में पहले पूर्व से पश्चिम की दिशा की तरफ रनवे का निर्माण किया गया था। अब उत्तर से दक्षिण दिशा की तरफ रनवे बनाया गया है।

2017 में हाई कोर्ट में दायर की थी जनहित याचिका

बिलासपुर से हवाई सेवा प्रारंभ करने की मांग को लेकर वर्ष 2017 में हाई कोर्ट के वकील संदीप दुबे ने छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर की थी। वर्ष 2018 से लगातार जनहित याचिका पर सुनवाई हो रही है। इसी बीच शहर के कमल दुबे ने एक और जनहित याचिका दायर कर हवाई सेवा की मांग की थी। हाई कोर्ट ने दोनों याचिकाओं की एकसाथ सुनवाई के निर्देश दिए थे। तब से लेकर आजतक दोनों जनहित याचिकाओं पर एकसाथ सुनवाई हो रही है। हाई कोर्ट के कड़े स्र्ख के चलते एयरपोर्ट का उन्न्यन कार्य पूरा हुआ और थ्री सी कैटेगरी लाइसेंस एयरपोर्ट अथारिटी ने जारी किया।

डिवीजन बेंच ने वकीलाें और अफसरों को दिया श्रेय

डिवीजन बेंच ने सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता संदीप दुबे व कमल दुबे के अलावा वकीलों, केंद्र व राज्य शासन के अफसरों को बिलासा एयरपोर्ट से हवाई सुविधा प्रारंभ होने का श्रेय दिया है।

Richa Sahay

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