रायपुर । छत्तीसगढ़ के बिलासपुर से बड़ी खबर है। यहां वर्दी की आड़ में गांजा तस्करी मामले में शामिल जीआरपी के चार आरक्षकों को एसपी ने बर्खास्त कर दिया है। रेल पुलिस अधीक्षक जे.आर. ठाकुर ने चारों आरक्षकों को सेवा से बर्खास्त कर दिया है। ये सभी रायपुर इकाई में तैनात थे।
मामला इस प्रकार है
यह मामला तब सामने आया जब अक्टूबर माह में 10 किलो गांजे के साथ दो आरोपियों को पकड़ा गया था।पूछताछ में यह खुलासा हुआ कि जीआरपीएफ के कुछ आरक्षक गांजा तस्करी में शामिल थे।इसके बाद रेल उप पुलिस अधीक्षक एस.एन. अख्तर ने इस मामले की जांच शुरू की।
जांच में चौंकाने वाले खुलासे
जांच के दौरान पाया गया कि यह चारों आरक्षक रायपुर इकाई में तैनात थे और अवैध गतिविधियों में लिप्त थे। इन आरक्षकों में सौरभ नागवंशी, मन्नू प्रजापति, संतोष राठौड़ और लक्ष्मण गाईन हैं। जांच में इन आरक्षकों की अवैध गतिविधियों की पुष्टि हुई है। उनके बैंक खातों में करोड़ों रुपये जमा पाए गए और कई संदिग्ध ट्रांजेक्शन भी सामने आए हैं।
29 अक्टूबर को इन चारों आरक्षकों को गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर जेल भेजा गया था। अब इनके खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई जारी है।
प्रशासन का सख्त रुख
रेल पुलिस अधीक्षक जे.आर. ठाकुर ने इस घटना पर सख्त कदम उठाते हुए कहा कि वर्दी की आड़ में अवैध गतिविधियां बर्दाश्त नहीं की जाएंगी। इस कार्रवाई का उद्देश्य पुलिस बल की साख को बनाए रखना और भ्रष्टाचार पर लगाम लगाना है। यह घटना न केवल पुलिस विभाग बल्कि समाज के लिए भी एक बड़ा सबक है कि कानून के रखवालों को भी कानून से ऊपर नहीं समझा जा सकता है।