IAS सुबोध सिंह की हो रही छत्तीसगढ़ में वापसी,दी जा सकती है बड़ी जिम्मेदारी

रायपुर। केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात छत्तीसगढ़ कैडर के 1997 बैच के आईएएस अधिकारी सुबोध कुमार सिंह की वापसी के आवेदन पर केंद्र सरकार ने कार्रवाई शुरू कर दी है।

इस संबंध में एक पत्र भी सामने आया है, हालांकि अभी यह तय नहीं है कि उन्हें कब रिलीव किया जाएगा और वह छत्तीसगढ़ में कब अपनी नई जिम्मेदारी संभालेंगे।

हाल ही में केंद्र सरकार ने सुबोध कुमार सिंह को स्टील मंत्रालय में एडिशनल सेक्रेटरी नियुक्त किया था। यह फेरबदल 26 अक्टूबर को हुआ था, जिसमें उन्हें वित्तीय सलाहकार की अतिरिक्त जिम्मेदारी भी सौंपी गई थी।

सुबोध कुमार सिंह भारतीय प्रशासनिक सेवा के 1997 बैच के अधिकारी हैं और अपने करियर में रायपुर समेत छत्तीसगढ़ के कई जिलों में कलेक्टर के तौर पर कार्य कर चुके हैं। डॉ. रमन सिंह के तीसरे कार्यकाल के दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री सचिवालय में सचिव के रूप में अहम जिम्मेदारी निभाई थी।

2019 में सुबोध कुमार सिंह केंद्र सरकार के प्रतिनियुक्ति पर गए थे। शांत और गंभीर कार्यशैली के लिए पहचाने जाने वाले सुबोध सिंह केंद्र में रहते हुए उस समय चर्चा में आए, जब राष्ट्रीय स्तर पर NEET परीक्षा के पेपर लीक का मामला सामने आया था। उस दौरान वह नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) के महानिदेशक पद पर तैनात थे।

छत्तीसगढ़ कैडर के इस अनुभवी अधिकारी की वापसी को लेकर राज्य सरकार और प्रशासनिक हलकों में एक बार फिर सुगबुगाहट शुरू हो गई है।

Richa Sahay

ऋचा सहाय — पत्रकारिता और न्याय जगत की एक सशक्त आवाज़, जिनका अनुभव दोनों क्षेत्रों में अद्वितीय है। वर्तमान में The 4th Pillar की वरिष्ठ समाचार संपादक के रूप में कार्यरत ऋचा सहाय दशकों से राजनीति, समाज, खेल, व्यापार और क्राइम जैसी विविध विषयों पर बेबाक, तथ्यपूर्ण और संवेदनशील लेखन के लिए जानी जाती हैं। उनकी लेखनी की सबसे खास बात है – जटिल मुद्दों को सरल, सुबोध भाषा में इस तरह प्रस्तुत करना कि पाठक हर पहलू को सहजता से समझ सकें।पत्रकारिता के साथ-साथ ऋचा सहाय एक प्रतिष्ठित वकील भी हैं। LLB और MA Political Science की डिग्री के साथ, उन्होंने क्राइम मामलों में गहरी न्यायिक समझ और विश्लेषणात्मक दृष्टिकोण स्थापित किया है। उनके अनुभव की गहराई न केवल अदालतों की बहसों में दिखाई देती है, बल्कि पत्रकारिता में उनके दृष्टिकोण को भी प्रभावशाली बनाती है।दोनों क्षेत्रों में वर्षों की तपस्या और सेवा ने ऋचा सहाय को एक ऐसा व्यक्तित्व बना दिया है जो ज्ञान, निडरता और संवेदनशीलता का प्रेरक संगम है।

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